नहरों में पानी न होने से किसान परेशान

पिछड़ रही है रवी फसलों की बुआई

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माल (कैनविज टाइम्स) – रवी फसलों की पलेवा और बुआई के समय इलाके की सभी नहरें सूखी पड़ी हैं।बुआई में हो रहे विलम्ब को देखकर नहरों की ओर ताक रहे किसानों का कलेजा मुँह को आ रहा है।अगैती फसलों को बुआई होने का समय बीत चुका है।किसान पिछैती प्रजातियों की बुआई के लिए पानी का इंतजार कर रहा है।जिम्मेदार हुक्मरान नहर सफाई हो जाने के बाद पानी छोड़े जाने की बात कर रहे हैं

माल क्षेत्र में शारदा खण्ड कैनाल डिवीजन हरदोई के सण्डीला खण्ड से निकली नहर रजबहा माल, अटारी माइनर,फुल्लोर माइनर,रहटा माइनर सहित आधा दर्जन नहरों की सेहत अरसे से खराब है।सिमट कर नाले में तब्दील हो चुकी कई नहरें अपने अस्तित्व की मोहताज बनी हुई हैं।वहीँ माल माइनर के किनारे के आधा दर्जन से अधिक गांव पारा, टिकनाखेड़ा, सेखवापुर, थरी, बड़खोरवा, अटवा,तिवारी खेड़ा,आदि में बीते डेढ़ दशक से किसानों ने नहर में पानी नहीं देखा है।कभी इस नहर से सिंचाई कर के इलाके के किसानों ने स्वर्णा मन्सूरी धान का बहुल उत्पादन कर एक कीर्तिमान बनाया था।आज किसान नहर में पानी न आने के कारण धान की खेती से दूर हो चुका है।

वर्तमान समय रवी फसलों की बुआई के खेत पलेवा करने के इंतजार में नहरों की ओर ताक रहा है।अगैती गेहूं,जौ, सरसों की बुआई का समय लगभग बीत चुका है।विशेषज्ञों के अनुसार अगैती प्रजातियों की बुआई 15 नवम्बर तक हो जनि चाहिए थी। अब पिछैती प्रजाति के गेहूं की बुआई के समय भी नहरों में पानी नहीं छोड़ा गया है।जिससे किसान अपने भविष्य को लेकर खासे चिंतित हैं।

सूत्रों की मानें तो नहरों की सफाई की औपचारिकता पूरी किये जाने के बाद ही पानी छोडा जायेगा। ऐसी हालत में सम्पन्न किसान अपने निजी साधनों से खेतों की सिंचाई कर रहे हैं। परन्तु साधनहीन किसानों का कलेजा मुँह में आ रहा है। किसान कपिल, अजय प्रताप सिंह,रामजीवन, एवम् श्रीराम ने नहरों में जल्द पानी छोड़े जाने की मांग शासन से की है। वहीँ खण्ड विकास अधिकारी अरुण कुमार से इस सम्बन्ध में जानकारी के लिये प्रयास के बाद भी सम्पर्क नहीं हो सका।

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